भोपाल, मध्य प्रदेश में भाजपा के बागी विधायकों के घटनाक्रम और पार्टी में आंतरिक गुटबाज़ी से संघ काफी नाराज़ है। प्रदेश में पार्टी के सामने आगे कोई ऐसे हालात न बनें इसके लिए संघ ने मोर्चा संभाल लिया है। राजधानी में संघ नेता चार दिन तक मंथन करने के लिए जुट रहे हैं। वह बीजेपी नेताओं के साथ मिलकर आगे की रणनीति तैयार करेंगे। इसके लिए संघ के वरिष्ठ पदाधिकारियों का भोपाल आना शुरू हो चुका है।
दरअसल, हाल ही में बीजेपी विधायकों के कांग्रेस में जाने की अटकलें और प्रदेश में बढ़ती मॉब लिंचिग की खबरों के सामने आने के बाद संघ इसका तोड़ निकालने के लिए रणनीति बनाएगा। जिससे पार्टी की छवि भी न बिगड़े और पार्टी खुलकर सरकार पर इन घटनाओं को लेकर दबाव बना सके। बैठक में इन्ही मुद्दों पर संघ का फोकस रहेगा।
बताया जा रहा है बैठक लोकसभा चुनाव के बाद होना तय मानी जा रही थी। लेकिन फिर विधानसभा सत्र शुरू हो गया। पार्टी सूत्रों का कहना है कि इसलिए संघ और बीजेपी नेताओं की बैठक टल गई थी। फिर विधानसभा सत्र के अंतिम दिन भाजपा विधायक नारायण त्रिपाठी और शरद कोल द्वारा कांग्रेस को समर्थन देने की घोषणा ने प्रदेश में जिला स्तर पर चल रही भाजपा नेताओं के बीच खींचतान को सामने ला दिया है।
इससे संघ के वरिष्ठ पदाधकारी और भाजपा के नए राष्ट्रीय संगठन महामंत्री बीएल संतोष भी नाराज़ हैं। बताया जाता है कि संतोष ने भी यह कहा है कि जिला स्तर पर अध्यक्षों और विधायकों के बीच चल रही गुटबाजी के कारण भी ऐसे हालात बनते हैं। यह संगठन की खींचतान का असर है। इसलिए तीन अगस्त से 6 अगस्त के बीच होने वाली अलग अलग बैठक में इस मुद्दे पर संघ और भाजपा नेताओं के बीच चर्चा होगी।
ये संघ नेता होंगे शामिल
संघ की अलग अलग बैठकें शारदा विहार, समिदा और अन्य स्थानों पर होना है। इसके लिए संघ से सह सरकार्यवाह डॉ. कृष्णगोपालन भोपाल आ गए हैं। वहीं, सर कार्यवाह सुरेश सोनी 4 से 6 अगस्त के बीच भोपाल में रहेंगे। सुरेश सोनी विद्याभारती की बैठकों को संबोधित करेंगे। जिसमें खासतोर पर प्रदेश में सरस्वती स्कूलों की संख्या में वृद्धि और वहां के पठन पाठन पर फोकस किया जाएगा।